Books Everyone Must Read: Book Eleven
Book: The Saint, the Surfer, and the CEO
Author: Robin Sharma
आज इन्सान के पास सब कुछ है, धन दौलत, सुख शोहरत, एक हँसता खेलता परिवार, जीवन की हर सुख सुविधा, फिर भी कहीं न कहीं एक अजीब सी बेचैनी, एक अधूरापन और एक अकेलापन - किसलिए ?
आज जिस किताब की मै बात कर रहा हूँ, शायद इस सवाल का जवाब उसमे छुपा है।
आज मनुष्य की प्राथिमकता जीवन का आनन्द भोगने मे नहीं बल्कि दुनिया को प्रभावित कर सके, ऐसी उपलब्धियों का भंडार बनाने मे है, वो उपलब्धियाँ जो उसकी मृत्यु के साथ ही दफ़न कर दी जायेंगी। इन्सान सोचता है, आज काम, बाकि जीवन का आनन्द कल, पर क्या सचमुच कल आयेगा?
जीवन का सबसे महत्वपूर्ण और शायद सबसे कठिन कार्य है - एक संतुलित जीवन जीना। एक ऐसा जीवन जिसमे Work, Family & Friends, Self & Spirituality, and God. इन सबके बीच संतुलन हो, एक संतुष्टि से भरपूर सम्पूर्ण जीवन।
इस कहानी का नायक जो जानलेवा दुर्घटना से मृत्यु के समीप जाकर लौटता है और अपने पिता से उनकी मृत्यु के पश्चात तोफहे मे एक आयोजित यात्रा - जीवन के तीन महान गुरुओं के साथ समय गुजारने का अवसर। और ये यात्रा किस तरह उसकी जीवन के प्रति सोच और जीवन जीने का नजरिया बदलती है। विश्वास करो, क़िताब को पड़ोगे तो खुद को भी नायक का सहयात्री ही समझोगे। जानोगे कि आप अकेले नही हो, किस तरह ब्रह्माण्ड आपको प्रगति के पथ मे ले जाने के लिए आपके जीवन मे विभिन्न परिस्थितों का सृजन करता है।
रॉबिन शर्मा की लगभग सारी किताबें मैंने पढ़ी हैं पर ये बेहतरीन किताबों में से एक है, इस कहानी की सादगी इसे और भी खूबसूरत बनाती है।
इसी विश्वास और शुभकामनाओं के साथ कि ये पुस्तक आपके जीवन को एक नया आयाम देगी, धन्यवाद।
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